
नई दिल्ली 18 मार्च . प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंगलवार लोकसभा को संबोधित करेंगे. दोपहर को पीएम के संबोधन से पहले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने अपने सभी लोकसभा सांसदों को 11:30 बजे तक संसद में पहुंचने का निर्देश दिया है.
पीएम मोदी का यह संबोधन संसद के बजट सत्र के दूसरे चरण में होगा. यह सत्र 10 मार्च से शुरू हुआ है और 4 अप्रैल तक जारी रहेगा.
इससे पहले, प्रधानमंत्री मोदी ने 4 फरवरी को लोकसभा में संबोधन दिया था, जब उन्होंने धन्यवाद प्रस्ताव का उत्तर दिया था. अपने भाषण में, पीएम मोदी ने ‘विकसित भारत’ पर जोर देते हुए कहा था कि उनकी सरकार 2047 तक भारत को एक विकसित राष्ट्र बनाने के लिए हर संभव प्रयास करेगी. पीएम ने विपक्ष को टारगेट करते हुए यह भी कहा था कि यह उनका तीसरा कार्यकाल है और वह आने वाले वर्षों में भी काम करना जारी रखेंगे
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार, 18 मार्च 2025 को लोकसभा में एक महत्वपूर्ण संबोधन दिया, जिसमें उन्होंने सरकार की उपलब्धियों, आगामी योजनाओं और देश के विकास के प्रति अपनी प्रतिबद्धता पर प्रकाश डाला। संसद के बजट सत्र के इस महत्वपूर्ण अवसर पर, प्रधानमंत्री ने राष्ट्र के समग्र विकास और प्रगति के लिए सरकार की दृष्टि को साझा किया।
सरकार की उपलब्धियाँ और प्रगति:
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन में पिछले एक दशक में सरकार की उपलब्धियों को रेखांकित किया। उन्होंने बताया कि कैसे उनकी सरकार के प्रयासों से 25 करोड़ भारतीय गरीबी रेखा से बाहर आए हैं, जो देश के समावेशी विकास का प्रमाण है। इसके अलावा, उन्होंने 4 करोड़ घरों के निर्माण, 12 करोड़ से अधिक शौचालयों की स्थापना, और 12 करोड़ परिवारों को नल से जल प्रदान करने जैसी महत्वपूर्ण उपलब्धियों का उल्लेख किया। डिजिटल इंडिया और तकनीकी प्रगति:
प्रधानमंत्री ने डिजिटल इंडिया अभियान के तहत जनधन, आधार और मोबाइल (JAM) ट्रिनिटी की सफलता पर जोर दिया, जिससे सरकारी योजनाओं का लाभ सीधे लाभार्थियों तक पहुंचा है। उन्होंने बताया कि डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर (DBT) के माध्यम से 40 लाख करोड़ रुपये सीधे जनता के खातों में जमा किए गए हैं, जिससे भ्रष्टाचार में कमी आई है और पारदर्शिता बढ़ी है। कृषि और किसान कल्याण:
किसानों के कल्याण के प्रति अपनी प्रतिबद्धता व्यक्त करते हुए, प्रधानमंत्री ने बताया कि उनकी सरकार ने कृषि बजट में 10 गुना वृद्धि की है। उन्होंने यूरिया की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने, पीएम किसान सम्मान निधि के तहत 3.5 लाख करोड़ रुपये किसानों के खाते में जमा करने, और सिंचाई परियोजनाओं को तेजी से पूरा करने जैसे कदमों का उल्लेख किया।
स्वास्थ्य और सामाजिक सुरक्षा:
प्रधानमंत्री ने आयुष्मान भारत योजना की सफलता पर प्रकाश डाला, जिससे करोड़ों गरीब परिवारों को मुफ्त चिकित्सा सुविधा मिली है। उन्होंने बताया कि जन औषधि केंद्रों के माध्यम से सस्ती दवाइयाँ उपलब्ध कराई गई हैं, जिससे लोगों के स्वास्थ्य खर्च में कमी आई है। इसके अलावा, स्वच्छ भारत मिशन के तहत शौचालय निर्माण से स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं में कमी आई है और महिलाओं की गरिमा में वृद्धि हुई है।
शिक्षा और कौशल विकास:
प्रधानमंत्री ने शिक्षा के क्षेत्र में सरकार के प्रयासों का उल्लेख किया, जिसमें नए विश्वविद्यालयों, आईटीआई और कॉलेजों की स्थापना शामिल है। उन्होंने बताया कि एससी, एसटी और ओबीसी छात्रों के लिए मेडिकल सीटों में वृद्धि की गई है, जिससे समाज के सभी वर्गों को उच्च शिक्षा का लाभ मिल रहा है। इसके अलावा, स्किल इंडिया मिशन के तहत युवाओं को कौशल प्रशिक्षण प्रदान किया जा रहा है, जिससे रोजगार के अवसर बढ़ रहे हैं।
इन्फ्रास्ट्रक्चर और कनेक्टिविटी:
प्रधानमंत्री ने देश में बुनियादी ढांचे के विकास पर जोर दिया, जिसमें सड़क, रेलवे और हवाई अड्डों का विस्तार शामिल है। उन्होंने बताया कि मेट्रो नेटवर्क का विस्तार टियर-2 और टियर-3 शहरों तक किया गया है, जिससे शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों के बीच कनेक्टिविटी में सुधार हुआ है। इसके अलावा, इलेक्ट्रिक बसों की शुरुआत से प्रदूषण में कमी आई है और सार्वजनिक परिवहन प्रणाली में सुधार हुआ है।
आर्थिक सुधार और निवेश:प्रधानमंत्री ने आर्थिक सुधारों के माध्यम से निवेश को बढ़ावा देने की सरकार की नीति पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि सेमीकंडक्टर, स्पेस और डिफेंस सेक्टर को खोला गया है, जिससे देश में निवेश के नए अवसर पैदा हुए हैं। इसके अलावा, स्टार्टअप इंडिया और मेक इन इंडिया जैसी योजनाओं से उद्यमिता को बढ़ावा मिला है और रोजगार के नए अवसर सृजित हुए हैं।
महिला सशक्तिकरण:
प्रधानमंत्री ने महिलाओं के सशक्तिकरण के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को दोहराया। उन्होंने बताया कि स्वयं सहायता समूहों में 10 करोड़ नई महिलाएं जुड़ी हैं, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार हुआ है। इसके अलावा, मुद्रा योजना के तहत महिलाओं को लोन प्रदान किया गया है, जिससे वे उद्यमिता की दिशा में कदम बढ़ा रही हैं।
निष्कर्ष:
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का यह संबोधन सरकार की उपलब्धियों, आगामी योजनाओं और देश के समग्र विकास के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाता है। उन्होंने विभिन्न क्षेत्रों में सरकार के प्रयासों का उल्लेख करते हुए देशवासियों को आश्वस्त किया कि भारत विकास की राह पर तेजी से अग्रसर है। यह संबोधन न केवल सरकार की नीतियों और कार्यक्रमों की जानकारी प्रदान करता है, बल्कि देश के नागरिकों को एकजुट होकर राष्ट्र निर्माण में योगदान देने के लिए प्रेरित भी करता है।